लखनऊ डेस्क। कामकाजी महिलाएं सबके खाने पीने की चिंता में कई बार खुद सही से भोजन नहीं करतीं। इस लिए महिलाओं में कुपोषण एक आम समस्या है। कई बार वह बाकी लोगों को तो दाल, सब्जी, सलाद, दही पूरा खाना लगाकर परोसती हैं, लेकिन खुद सब्जी से ही काम चला लेती हैं।
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1-प्रोटीन की कमी भी बहुत सी महिलाओं में बीमारियों का कारण बन रही है। मांसपेशियों में अकड़, दर्द , थकान आदि इसके लक्षण हैं। कुपोषण की समस्याएं महिलाओं में पुरुषों की अपेक्षा अधिक देखी जाती हैं। ऐसे में अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखना बेहद आवश्यक है। कमजोर शरीर कई अन्य बीमारियों की भी संभावना को बढ़ा देता है।
2-शरीर को आयरन , विटामिन , कैल्शियम आदि की जरूरत होती है। जो सही खानपान से ही मिलते हैं। आज के दौर में महिलाओं में कैल्शियम, आयरन की कमी आम बात हो गई है। जिससे अकसर पैरों में ऐंठन, शरीर में दर्द, खून की कमी जैसी समस्याएं देखी जा सकती हैं। वहीं, विटामिन डी और बी की कमी का शिकार महिलाओं की संख्या लगातार बढ़ रही है।
3-बदलती जीवनशैली में महिलाओं के बीच भी बाहर से मंगाए खाने का चलन बढ़ गया है। खासकर कम उम्र की लड़कियां फास्ट फूड बहुत ज्यादा खाने लगी हैं। जंक फूड आपका पेट तो भर देते हैं। लेकिन शरीर के लिए जरूरी पोषण नहीं मिलता है। जिसके चलते शारीरिक विकास एवं स्वास्थ्य प्रभावित होता है।