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उत्तर प्रदेश में 30 हजार सोलर पंपों की स्थापना करेगी योगी सरकार

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश के समेकित विकास के लिए प्रसायरत योगी सरकार (Yogi Government) न केवल प्रदेश में औद्योगिक विकास को गति दे रही है बल्कि प्रदेश की बढ़ती ऊर्जा जरूरतों को पूरा करने के लिए स्वच्छ ऊर्जा विकल्पों पर भी विशेष फोकस कर रही है। इसी क्रम में प्रधानमंत्री‍ किसान ऊर्जा ‍सुरक्षा उत्थान महाभियान‍ (पीएम कुसुम योजना) को उत्तर प्रदेश में लागू कराने के लिए सीएम योगी की मंशा के अनुरूप संशोधित कार्ययोजना को अनुमति दी गई है। वित्तीय वर्ष 2023-24 में पीएम कुसुम योजना के अंतर्गत 434 करोड़ रुपए खर्च कर 30 हजार सोलर फोटो वोल्टिक इरीगेशन पंप (Solar Pump) को इंस्टॉल किए जाने का का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।

योगी सरकार द्वारा इस मद में 217.84 करोड़ रुपए बतौर राज्यांश आवंटित किए जाएगा जबकि 217.09 करोड़ रुपए की धनराशि केंद्रांश के तौर पर केंद्र सरकार की ओर से प्राप्त होगा। इस कार्य योजना को राज्य में क्रियान्वित करने की जिम्मेदारी उत्तर प्रदेश नवीन एवं नवकरणीय ऊर्जा अभिकरण (यूपीनेडा) को दी गई है जिसके जरिए सर्फेस व सबमर्सिबल पंप इंस्टॉलेशन के जरिए 75 जिलों के किसानों को स्वच्छ ऊर्जा आधारित सिंचाई व्यवस्था उपलब्ध कराई जाएगी। परियोजना के तहत 30 हजार सोलर फोटो वोल्टिक इरीगेशन पंप को इंस्टॉल किए जाने का लक्ष्य योगी सरकार द्वारा निर्धारित किया गया है।

किसानों को मिलेगी बड़ी मदद

भारत सरकार की मिनिस्ट्री ऑफ न्यू एंड रिन्यूएबल एनर्जी की गाइडलाइंस के मुताबिक, विभिन्न क्षमता के 7.5 एचपी तक के स्टैंड अलोन सोलर पंपों (Solar Pump)  की स्थापना पर बेंचमार्क कॉस्ट का 30 प्रतिशत केंद्रांश व 30 प्रतिशत राज्यांश के रूप में कुल 60 प्रतिशत का अनुदान की धनराशि राज्यांश के रूप में उपलब्ध करायी जाएगी। वहीं, कृषि अवस्थापना निधि के तगत स्टैंड अलोन सोलर पंपों के इंस्टॉलेशन के लिए इच्छुक किसान आवश्यक कृषक अंश को बैंक से ऋण लेकर जमा कर सकते हैं।

इस पर केंद्र सरकार द्वारा 3 प्रतिशत और राज्य सरकार द्वारा 3 प्रतिशत के तौर पर कुल 6 प्रतिशत की छूट ब्याज में प्रदान की जाएगी। इसके इंस्टॉलेशन से किसानों को सौर उर्जा चालित पंपों (Solar Pump) की स्थापना करने में मदद मिलेगी जिससे न केवल उन्हें कम दाम में स्वच्छ ऊर्जा चालित विकल्प मिलेगा वहीं पर्यावरण की रक्षा में भी यह एक उल्लेखनीय कदम साबित होगा। इससे क्षेत्र में जलवायु परिवर्तन की रफ्तार रोकने और कार्बन एमीशन की तीव्रता को कम करने में मदद मिलेगी। वहीं, सिंचाई की लागत भी कम आएगी क्योंकि बिजली और डीजल आपूर्ति पर उनकी निर्भरता में कमी आएगी।

पहले आओ, पहले पाओ के आधार पर होगा चयन

स्वीकृत की गई संशोधित कार्ययोजना के अनुसार, 1800 वॉट 2 एचपी डीसी व एसी सरफेस तथा सबमर्सिबल पंप, 3000 वॉट 3 एचपी डीसी-एसी सबमर्सिबल पंप, 4800 वॉट 5 एचपी एसी सबमर्सिबल पंप, 6750 वॉट 7.5 एचपी एसी सबमर्सिबल पंप, 9000 वॉट 10 एचपी एसी सबमर्सिबल सोलर पंपों की स्थापना में यूपीनेडा मदद करेगी।

योजना का लाभ लेने के लिए कृषि विभाग की वेबसाइट www.upagriculture.com पर रजिस्टर करना होगा। इसके बाद किसानों को इंस्टॉल्ड कराए गए पंप (Solar Pump) की डीटेल्स और उनकी केटेगरीज को सिलेक्ट कर पात्रता के लिए आवेदन देना होगा। इसके बाद किसानों के टोकन अलॉटमेंट की प्रक्रिया शुरू होगी जो पहले आओ, पहले पाओ पर आधारित होगी।

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आवेदन के समय 5000 रुपए किसान को टोकन मनी के तौर पर ऑनलाइन जमा करना होगा। सोलर पंपों (Solar Pump) के इंस्टॉलेशन के लिए सभी जिलों के आवंटित लक्ष्यों के आधार पर सब्सिडी किसानों को दी जाएगी।

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