गुवाहाटी। बीते 27 जनवरी को तृतीय बोडोलैंड शांति समझौता पर हस्ताक्षर हुआ था। इसके बाद गुरुवार को बोडोलैंड के कुख्यात उग्रवादी संगठन नेशनल डेमोक्रेटिक फ्रंट ऑफ बोडोलैंड (एनडीएफबी) के तीनों गुटों के सदस्यों ने असम के मुख्यमंत्री सर्वानंद सोनोवाल के हाथों में अपने हथियार सौंप दिए है।
इस दौरान 1615 एनडीएफबी कैडरों ने औपचारिक रूप से मुख्यमंत्री सर्वानंद सोनोवाल के हाथों में अपने हथियार सौंपे। मालूम हो कि समारोह के दौरान कुल 178 आर्म्स तथा 4803 राउंड गोली मुख्यमंत्री के हाथों में जमा कराए गए। इनमें से एनडीएफबी (पी) के 836 आत्मसमर्पणकारी सदस्यों ने 116 आर्म्स, 3245 राउंड गोलियां, 14 ग्रेनेड तथा एक मोर्टार जमा किए।
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एनडीएफबी (आरडी) गुटके 579 आत्मसमर्पण कारियों ने 24 आर्म्स जमा किए जबकि, एनडीएफबी (एस) गुटके 200 समर्पणकारियों ने 178 आर्म्स, 4803 राउंड गोलियां, 14 ग्रेनेड तथा एक मोर्टार मुख्यमंत्री सर्वानंद सोनोवाल के हाथों में सौंपे। बोडो शांति समझौता पर हस्ताक्षर होने के दिन ही अस्त्र समर्पण के लिए आज के दिन 30 जनवरी महात्मा गांधी की पुण्यतिथि को ध्यान में रखकर निर्धारित किया गया था।
असम पुलिस की विशेष शाखा द्वारा राजधानी के भंगागढ़ स्थित जीएमसी ऑडिटोरियम में अस्त्र समर्पण समारोह का आयोजन किया गया है। सुबह 10.45 बजे कार्यक्रम की शुरुआत हुई। जहां मुख्यमंत्री सर्वानंद सोनोवाल, राज्य सरकार के वित्त आदि मामलों के मंत्री डॉ हिमंत विश्वशर्मा, असम के पुलिस महानिदेशक भास्कर ज्योति महंत, विशेष शाखा के महानिदेशक हिरेन नाथ, सेना के चौथे कोर के जीओसी के साथ ही बड़ी संख्या में नेता, पुलिस अधिकारी, एनडीएफबी के कैडर तथा गणमान्य व्यक्ति ऑडिटोरियम में इस अवसर पर मौजूद थे।
एनडीएफबी के सभी गुटों द्वारा इस प्रकार आत्मसमर्पण करने के बाद बोडोलैंड के साथ ही पूरे असम में आतंक का पर्याय रहे इस संगठन का एक तरफ से सफाया हो चुका है। पृथक बोडो राज्य की मांग कर रहे ऑल बोडो स्टूडेंट्स यूनियन के भी बोडोलैंड शांति समझौता में शामिल होने के बाद पृथक बोडो राज्य और असम के आधा-आधा बंटवारे की मांग भी समाप्त हो चुकी है।