नई दिल्ली। पूरे देश में जहां नागरिकता कानून CAA को लेकर विरोध और समर्थन में प्रदर्शन जारी है। वहीं पाकिस्तान से पढ़ने के लिए आईं हिंदू शरणार्थी नीता कंवर सोढ़ा को चार महीने पहले ही भारत की नागरिकता प्रदान की गई है। अब वह टोंक जिले के नटवाड़ा ग्राम पंचायत से सरपंच का चुनाव लड़ रही है।
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नीता अपनी बहन अंजलि और चाचा नखट सिंह सोढ़ा के साथ साल 2001 में जोधपुर आई। जबकि उनका माता-पिता और भाई पाकिस्तान के सिंध में ही रहते हैं। नीता पाकिस्तान से पढ़ने के लिए भारत आईं थी। फिर आठ वर्ष पहले उनकी यहां एक प्रतिष्ठित परिवार में शादी हो गई और चार महीने पहले ही उन्हें भारत की नागरिकता दी गई है। भारतीय नागरिकता मिलने के साथ ही वह सरंपच चुनाव में अपना भाग्य आजमा रही हैं।
Tonk: Neeta Sodha, an immigrant from Pakistan who was recently given Indian citizenship is contesting panchayat elections in Natwara, says,"I came to India 18 yrs back but I was given nationality just 4 months ago. My father-in-law guides me in my political journey." #Rajasthan pic.twitter.com/BUGeZmrixq
— ANI (@ANI) January 17, 2020
नीता ने बताया कि नियमों के अनुसार, मैंने भारत आने के सात साल बाद भारतीय नागरिकता के लिए आवेदन किया है,लेकिन मेरे आवेदन को दो-तीन बार नकार दिया है। उन्होंने बताया कि जब बारह साल पूरे हो गए तब जाकर उन्हें भारत की नागरिकता दी गई।
जब नीता से चुनाव लड़ने के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि मैं यहां सामान्य सीट से चुनाव लड़ रही हूं, जो महिलाओं के लिए आरक्षित हैं। नीता का कहना है कि वह लैंगिक समानता, महिला सशक्तीकरण, सभी के लिए अच्छी शिक्षा और बेहतर चिकित्सा सुविधा प्रदान करने के साथ-साथ उन्हें रोजगार के अवसर भी देना चाहती है। उनका बताया कि पंचायत चुनाव लड़ने में उनके परिवार के साथ-साथ गांव का भी समर्थन मिल रहा है।
नीता कंवर सोढ़ा ने अजमेर के सोफिया कॉलेज से स्नातक किया है। 2011 में उनकी शादी नटवाड़ा गांव के पुण्य प्रताप करण से हुई। नीता ने बताया कि हम पाकिस्तान के सोढ़ा राजपूत कबीले के हैं और हमारे कबीले की लड़कियों की शादी भारत में होती है, क्योंकि वहां कोई और राजपूत कबीला नहीं है।