लखनऊ: प्रदेश के ऊर्जा एवं अतिरिक्त ऊर्जा मंत्री ए0के0 शर्मा (Energy Minister AK Sharma) ने कहा कि प्रधानमंत्री की मंशानुरूप और मुख्यमंत्री के निर्देशानुसार प्रदेश में उपभोक्ताओं को निर्बाध विद्युत मिले इसको सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए ऊर्जा विभाग द्वारा विद्युत व्यवस्था को बेहतर बनाने के प्रयास किये जा रहे हैं। उन्होंने बताया है कि प्रदेश की विद्युत आपूर्ति (Power supply) की व्यवस्था को और बेहतर बनाने के लिए 05 उपकेन्द्रो के निर्माण, एबीटी मीटरों की स्थापना तथा उच्च विभव की लाइनों पर ऑप्टिकल फाइबर डालने के कार्य पर लगभग 666 करोड़ रूपये खर्च किये जायेंगे।
ऊर्जा मंत्री ने बताया कि आज एनर्जी टास्क फोर्स की बैठक सम्पन्न हुई, जिसमें कुल 03 नग 220 केवी उपकेन्द्र (बदायूं रोड बरेली, मवाना मेरठ सै०-62 नोएडा) तथा 02 नग 132 केवी उपकेन्द्र (रामनगर बाराबंकी, बुधाना मुजफ्फरनगर) के निर्माण से सम्बन्धित प्रस्ताव को अनुमोदन हेतु संस्तुत किया गया, जिसकी कुल लागत 369.51 करोड़ रूपये अनुमानित है। इन उपकेन्द्रों के निर्माण से जनपद बरेली, मेरठ, नोएडा बाराबंकी एवं मुजफ्फरनगर की विद्युत आपूर्ति में गुणात्मक सुधार होगा। इसके निर्माण से उपभोक्ताओं को लो-वोल्टेज आदि समस्याओं से निजात मिलेगी।
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उन्होंने कहा कि इसके अतिरिक्त भारत सरकार की पीएसडीएफ ग्रांट से वित्तपोषित एवं सीईए नियमन योजना के अन्तर्गत इन्टरफेस प्वाइंट पर एबीटी मीटरों की स्थापना कार्य तथा 132 केवी एवं उच्च विभव की लाइनों पर ऑप्टिकल फाइबर डालने के कार्य की योजना को स्वीकृत किया गया, जिसकी कुल लागत 296.58 करोड़ रूपये अनुमानित है। इन परियोजनाओं के क्रियान्वयन के उपरान्त रियल टाइम मीटरिंग डाटा एवं ग्रिड प्रबन्धन सुचारू रूप से किया जा सकेगा, जिससे उपभोक्ताओ को सस्ती बिजली उपलब्ध कराना सम्भव होगा। इस प्रकार कुल 666.09 करोड़ रूपये की परियोजनाओं को ऊर्जा विभाग की एनर्जी टास्क फोर्स द्वारा अनुमोदन हेतु संस्तुत किया गया।