नई दिल्ली। देश के बीमा क्षेत्र में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (FDI) की सीमा बढ़ाकर 74 फीसदी करने के लिए लाए गए बीमा संशोधन विधेयक का राज्यसभा में बृहस्पतिवार को विपक्ष ने भारी विरोध किया। कांग्रेस नीत विपक्षी सदस्यों ने के हंगामे के कारण कारण सदन की बैठक बाधित हुई।
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नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खडगे ने विधेयक का विरोध करते हुए कहा कि सरकार ने पहले ही बीमा क्षेत्र में एफडीआई बढ़ाकर 49 प्रतिशत कर दिया है और अब इस विधेयक के जरिए यह सीमा 74 प्रतिशत की जा रही है। उन्होंने विधेयक को संबंधित स्थायी समिति में भेजे जाने की मांग की। द्रमुक के टी शिवा ने भी इसे स्थायी समिति में भेजे जाने की मांग की।
15 मार्च को पेश किया गया था विधेयक
कांग्रेस सदस्य शक्तिसिंह गोहिल ने विधेयक पर चर्चा कराने पर आपत्ति जताते हुए कहा कि इसके लिए सदस्यों को पर्याप्त समय नहीं मिला, लेकिन उपसभापति हरिवंश ने उनकी आपत्ति को खारिज कर दिया और कहा कि यह विधेयक सदन में 15 मार्च को ही पेश किया गया था और सदस्यों को उचित समय मिला है। भाजपा सदस्य भूपेंद्र यादव ने विपक्ष की मांग का विरोध करते हुए कहा कि इस पर पहले ही स्थायी समिति सहित विभिन्न समितियों में विचार किया जा चुका है।
वित्त मंत्री ने चर्चा के लिए पेश किया
हंगामे के दौरान ही वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बीमा (संशोधन) विधेयक चर्चा के लिए रखा। इस दौरान कुछ सदस्य विधेयक का विरोध करते हुए आसन के समीप आ गए। सदन में हंगामे को देखते हुए उपसभापति हरिवंश ने बैठक कुछ देर के लिए स्थगित कर दी। इसके बाद दोबारा बैठक शुरू होते ही कार्रवाई पहले तीन बजे तक और उसके बाद तीन बजकर 15 मिनट तक के लिए स्थगित कर दी गई।