नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चुनाव आयोग से मिली क्लीन चिट पर कांग्रेस ने कड़ा एतराज जताया है। कांग्रेस ने कहा कि मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट अब ‘मोदी कोड ऑफ कंडक्ट’ बन गया है। बता दें कि मंगलवार को आयोग ने कहा था कि पीएम ने रैली में भाषण देते हुए आचार संहिता का कोई उल्लंघन नहीं किया था।
Disappointed that the PM of India is permitted to go scot-free after rampant violation of Article 324 & MCC.
It is now crystal clear that MCC has become 'Modi Code of Conduct' !
There cannot be two sets of laws for Modiji & the rest of the country. https://t.co/K3i1xijatl
— Randeep Singh Surjewala (@rssurjewala) May 1, 2019
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कांग्रेस ने कहा कि आर्टिकल 324 मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट बन गया ‘मोदी कोड ऑफ कंडक्ट’
कांग्रेस के प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने ट्वीट करते हुए चुनाव आयोग पर बड़ा हमला किया है। उन्होंने लिखा कि हमलोग काफी दुखी हैं कि आर्टिकल 324 और मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट का उल्लंघन करने के बावजूद पीएम को चुनाव आयोग ने छोड़ दिया। मोदी जी और दूसरों के लिए अलग-अलग कानून नहीं हो सकता। अब ये साफ हो गया है कि मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट ‘मोदी कोड ऑफ कंडक्ट’ बन गया है।
पीएम मोदी पर महाराष्ट्र के वर्धा में चुनावी रैली के दौरान आचार संहिता उल्लंघन करने का लगा था आरोप
बता दें कि पीएम मोदी पर महाराष्ट्र के वर्धा में चुनावी रैली के दौरान आचार संहिता उल्लंघन करने का आरोप लगा था। कांग्रेस ने पीएम की चुनाव आयोग में शिकायत की थी। उनका आरोप था कि मोदी ने राहुल गांधी के केरल के वायनाड से चुनाव लड़ने पर अपरोक्ष रूप से सवाल उठाए थे, लेकिन आयोग ने पीएम का भाषण को सुनने के बाद उन्हें क्लीन चिट दे दी।
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पीएम मोदी ने कहा था कि कांग्रेस ने हिंदुओं को बदनाम किया
बता दें कि बीते एक अप्रैल को महाराष्ट्र के वर्धा में चुनावी रैली के दौरान पीएम ने राहुल गांधी का नाम लिए बिना कहा था कि उन्हें वायनाड से चुनाव लड़ने के लिए मजबूर होना पड़ा, क्योंकि उस क्षेत्र में अल्पसंख्यकों का दबदबा है। पीएम मोदी ने कहा था कि कांग्रेस ने हिंदुओं को बदनाम किया। लोगों ने उन्हें अब सजा देने का मन बना लिया है। उस पार्टी के नेता अब ऐसे क्षेत्रों से न चुनाव लड़ने के लिए मजबूर हो रहे हैं जहां हिंदुओं की संख्या ज़्यादा है और इसलिए वो भाग कर के ऐसी जगह जा रहे हैं जहां देश का बहुसंख्यक अल्पसंख्यक है। वह वहां शरण लेने के लिए मजबूर हो गए हैं।