लखनऊ डेस्क। कार्तिक शुक्ल पक्ष में द्वितीया तिथि जब अपराह्न के समय आये तो उस दिन भाई दूज मनाई जाती है। अगर कार्तिक शुक्ल पक्ष में जब मध्याह्न के समय प्रतिपदा तिथि शुरू हो तो भाई दूज मनाना चाहिए। हालांकि यह मत तर्क संगत नहीं बताया जाता है।
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आपको बता दें यदि दोनों दिन अपराह्न के समय द्वितीया तिथि लग जाती है तो भाई दूज अगले दिन मनाने का विधान है। इसके अलावा यदि दोनों दिन अपराह्न के समय द्वितीया तिथि नहीं आती है तो भी भाई दूज अगले दिन मनाई जानी चाहिए।
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जानकारी के मुताबिक सूर्य पुत्री यमी अर्थात् यमुना ने अपने भाई यम को कार्तिक शुक्ल पक्ष की द्वितीया तिथि को अपने घर निमन्त्रित कर अपने हाथों से बना स्वादिष्ट भोजन कराया। जिससे यमराज बहुत प्रसन्न हुए और उन्होंने अपनी बहन यमुना से एक वरदान मांगने को कहा।