कूटरचित दस्तावेज के माध्यम से लोगों को बेशकीमती जमीन बेचकर करोड़ों रुपये के वारे-न्यारे करने वाले गिरोह का नगराम पुलिस ने पर्दाफाश किया है। पुलिस ने फर्जीवाडा कर जमीन की खरीद-फरोस्त के कई मामलों का खुलासा किया है।
थाना प्रभारी नगराम ने बताया कि गुरूवार को मुखबिर की सूचना पर पुलिस टीम ने आरोपितों की गिर तारी के लिए इलाके में पहले से ही घेराबन्दी कर ली थी। कुछ ही देर में मौके पर आरोपित पहुंच गया। इलाके में भारी पुलिस बल देखकर आरोपित भागने लगा। इस पर पुलिस टीम ने आरोपित को दौड़ाकर दबोच लिया। पूछताछ में आरोपितों ने अपना नाम करनपुर निगोहा निवासी अवधलाल बताया है। थाना प्रभारी के अनुसार आरोपित अवधलाल जालसाजी के आरोप में वांछित था।
पुलिस के हत्थे चढ़े मादक पदार्थ के कारोबारी
आरोपित अपने साथी अजीत सिंह उर्फ अन्न उर्फ अंजनी, सौरभ सिंह, सन्तलाल, महेन्द्र उर्फ प्रमोद के साथ जमीन की खरीद-फरोस्त में लोगों के साथ धोखाधड़ी करता है। आरोपितों का एक संगठित गिरोह है जो कि निगोहां और नगराम में लेागों के साथ फर्जीवाड़ा करता है। बकौल पुलिस आरोपित ने ग्राम बिन्दौआ मोहनलालगंज निवासी विश भर रावत के 4 करोड़ 50 लाख रुपये कूटरचित दस्तावेज के बल पर गबन कर लिए थे। इसके आलावा आरोपितों ने स्थानीय निवासी आशा देवी के 7 लाख रुपये हड़प कर लिए थे। आरोपित से अन्य जानकारियां हांसिल कर पुलिस ने आरोपित को जेल रवाना किया है।
फर्जी व्यक्तियों को खड़ा कर कराता था बैनामा
पुलिस ने बताया कि आरोपित शातिराना तरीके से लोगों की जमीन बिकवा देता था और जमीन मालिक को पता भी नहीं चलता था। आरोपित फर्जी व्यक्ति को खड़ा कर लोगों की जमीनों का बैनामा करा देता था। कागजी कार्रवाई में आरोपित कहीं भी खुद हस्ताक्षर नहीं करता था। जिसके चलते आरोपित पुलिस के चंगुल में नहीं फंसता था।