मुंबई। प्रोफेशनल महिला स्क्वैश रैंकिंग में भारत की तरफ से सबसे पहले टॉप-10 में जगह बनाने वाली दीपिका पल्लीकल कार्तिक ने बड़ी बात कही है। उनका मानना है कि केवल अभ्यास से नहीं, बल्कि मानसिक कौशल प्रशिक्षण की वजह से उनकी रैंकिंग में सुधार हुआ था।
विश्व में टॉप-10 में पहुंचने के लिए आपको बहुत कुछ अलग करना होता है
दीपिका ने एक कार्यक्रम में कहा कि मैं अपने करियर की शुरुआत में बहुत जल्दी 20वीं रैंकिंग पर पहुंच गयी थी और लंबे समय तक उसी रैंकिंग पर अटकी रही थी। तब तक मैंने मानसिक कोच के बारे में नहीं सोचा था, लेकिन विश्व में टॉप-10 में पहुंचने के लिए आपको बहुत कुछ अलग करना होता है। केवल ट्रैक्स पर दौड़, फिटनेस कार्यक्रमों का पालन करना या स्क्वैश खेलना सब कुछ नहीं है।
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मेरे 20 से 10वीं रैंकिंग पर पहुंचने का कारण निश्चित तौर पर मानसिक कुशलता प्रशिक्षण है जो मैंने किया था
उन्होंने कहा कि मुझे लगता है कि अपने खेल में बाहर के बहुत सारे पहलुओं को लागू करना जरूरी होता है और मेरे 20 से 10वीं रैंकिंग पर पहुंचने का कारण निश्चित तौर पर मानसिक कुशलता प्रशिक्षण है जो मैंने किया था।
जब आप बहुत कम उम्र में अपने दिमाग को प्रशिक्षित करते हैं तो आपको बहुत कम उम्र में ही उसका परिणाम भी मिलता है
दीपिका ने कहा कि बहुत सारे खिलाड़ियों ने कभी मानसिक प्रशिक्षण के बारे में नहीं सोचा है, क्योंकि मुझे लगता है कि भारत में यह कोई बड़ा मुद्दा नहीं है। मुझे लगता है कि जब आप बहुत कम उम्र में अपने दिमाग को प्रशिक्षित करते हैं तो आपको बहुत कम उम्र में ही उसका परिणाम भी मिलता है।