लखनऊ डेस्क। आश्विन कृष्ण पक्ष श्राद्धपक्ष या पितृ पक्ष कहलाता है। इस दौरान मृत्यु प्राप्त व्यक्तिों की मृत्यु तिथियों के अनुसार इस पक्ष में उनका श्राद्ध किया जाता है। आश्विन कृष्ण के पितृपक्ष में किए जाने वाले श्राद्ध को पार्वण श्राद्ध कहा जाता है। इन दिनों में भूलकर भी कुछ गलतियां नहीं करनी चाहिए, वरना खुशियों में ग्रहण लग सकता है। आइये जानें कौन सी हैं वो गलतियां –
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आपको बता दें पितृपक्ष के दौरान गाय, कुत्ता, बिल्ली, कौआ इन्हें श्राद्ध पक्ष में मारना नहीं चाहिए, बल्कि इन्हें खाना देना चाहिए। मांसाहारी भोजन जैसे मांस, मछली, अंडा के सेवन से परहेज करना चाहिए। शराब और नशीली चीजों से बचें। वहीँ इस दौरान जो भी भोजन बनाएं उसमें से एक हिस्सा पितरों के नाम से निकालकर गाय या कुत्ते को खिला दें। भौतिक सुख के साधन जैसे स्वर्ण आभूषण, नए वस्त्र, वाहन इन दिनों खरीदना अच्छा नहीं माना गया है, क्योंकि यह शोक काल होता है।
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जानकारी के मुताबिक ब्रह्मचर्य का पालन करें, इन दिनों स्त्री पुरुष संबंध से बचना चाहिए। नाखून, बाल एवं दाढ़ी मूंछ नहीं बनाना चाहिए। क्योंकि श्राद्ध पक्ष पितरों को याद करने का समय होता है। यह एक तरह से शोक व्यक्त करने का तरीका है।