petrol-diesel

पेट्रोल-डीजल को जीएसटी के दायरे में लाने पर हो सकता है विचार

478 0

पेट्रोल और डीजल (petrol-diesel) को जीएसटी के दायरे में लाने के प्रस्ताव पर जल्द ही केंद्र सरकार विचार कर सकती है। इन दोनों पेट्रोलियम उत्पादों की आसमान छूती कीमत से देश के आम उपभोक्ताओं को राहत देने के लिए आगामी शुक्रवार यानी 17 सितंबर को होने वाली मंत्री स्तरीय पैनल संबंधित प्रस्ताव रखा जा सकता है।

बताया जा रहा है कि पेट्रोल और डीजल को जीएसटी के दायरे में लाने के लिए केंद्र सरकार की ओर से मंत्री स्तरीय पैनल की बैठक में एक प्रस्ताव रखा जाएगा। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की अगुवाई वाले इस पैनल में ‘वन नेशनल रेट पॉलिसी’ के तहत पेट्रोलियम उत्पादों पर भी दूसरी उपभोक्ता वस्तुओं की तरह ही पूरे देश में एक समान टैक्स लगाने की प्रक्रिया पर विचार किया जाना है। पूरे देश में एक समान टैक्स की ये प्रक्रिया जीएसटी के जरिए ही अमल में लाई जा सकती है। माना जा रहा है कि अगर इस प्रक्रिया पर अमल किया गया, तो सरकार के राजस्व वसूली के तौर-तरीकों में आने वाले दिनों में बड़े बदलाव होने की संभावना भी बन जाएगी।

पेट्रोल और डीजल की बढ़ती कीमत ने मध्य आय वर्गीय उपभोक्ताओं की जेब पर काफी प्रतिकूल असर डाला है। इसी वजह से न्यायपालिका भी केंद्र सरकार को पेट्रोल और डीजल को जीएसटी के दायरे में लाने की बात पर विचार करने की सलाह दे चुकी है। माना जा रहा है कि शुक्रवार को होने वाली बैठक में मंत्री स्तरीय पैनल पेट्रोलियम उत्पादों खासकर पेट्रोल और डीजल को जीएसटी के दायरे में लाने के प्रस्ताव की संभाव्यता की जांच करेगा। इसके साथ ही पैनल इस बात का अनुमान लगाने की भी कोशिश करेगा कि पेट्रोल और डीजल को जीएसटी के दायरे में लाने से होने वाली राजस्व की हानि का देश की आर्थिक अवस्था और देश के खजाने पर कितना प्रतिकूल असर पड़ेगा।

अमेरिका में ग्रीन कार्ड पाने का रास्ता होगा आसान

उल्लेखनीय है कि जीएसटी के मौजूदा प्रारूप में किसी भी तरह का बदलाव करने के लिए मंत्री स्तरीय पैनल में तीन चौथाई सदस्यों की सहमति आवश्यक होती है। इस पैनल में सभी राज्यों के प्रतिनिधि भी शामिल होते हैं। हालांकि इस प्रस्ताव पर विचार होने के पहले ही कुछ राज्यों ने पेट्रोल और डीजल जैसे ईंधन को जीएसटी सिस्टम में शामिल करने का विरोध किया है। इन राज्यों का मानना है कि पेट्रोल और डीजल पर लगने वाले वैट (वैल्यू ऐडेड टैक्स) के जरिए राज्य को राजस्व के रूप में बड़ी राशि मिलती है लेकिन अगर पेट्रोल और डीजल को जीएसटी के दायरे में लाया गया तो राज्य के लिए राजस्व जुटाने का एक बड़ा माध्यम केंद्र सरकार के पास चला जाएगा।

17 तारीख को होने वाले मंत्री स्तरीय पैनल की बैठक का एजेंडा अभी सार्वजनिक नहीं किया गया है लेकिन माना जा रहा है कि इस बैठक में पेट्रोल और डीजल को जीएसटी के दायरे में लाने, कोरोना के इलाज में काम आने वाली कुछ दवाओं को मिल रही रियायत की अवधि में और तीन महीने का विस्तार देने और रिन्यूएबल एनर्जी के काम आने वाले उपकरणों कि जीएसटी की मौजूदा दर में संशोधन करने जैसे विषयों पर चर्चा होगी।

Related Post

cm dhami

चमोली हादसे के प्रकरण में सीएम धामी का एक्शन, इन अधिकारियों पर गिरी गाज

Posted by - July 21, 2023 0
देहारादून। चमोली हादसे के प्रकरण में बड़ी कार्रवाई की गई  है। बताया जा रहा है कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी…
CM Nayab Singh

पीएम सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना से रोशन होंगे लाखों परिवार: मुख्यमंत्री नायब

Posted by - August 16, 2024 0
कैथल।‌ मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी (CM Nayab Singh) ने कहा कि प्रधानमंत्री सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना (PM Surya Free…