लखनऊ। उत्तर प्रदेश भाजपा में विधान परिषद की मनोनीत कोटे की सीटों के लिए नामों पर मंथन कर करीब-करीब अंतिम रूप दे दिया गया है। उप्र विधान परिषद की मनोनीत कोटे की छह सीटों पर सदस्यों का चयन होना है।
मनोनीत कोटे की सीटों पर नामों के चयन को लेकर पार्टी के भीतर काफी पहले से मंथन शुरू हो गया था। पिछले दिनों प्रदेश भाजपा की कोर कमेटी की बैठक में करीब दो दर्जन नाम रखे गए थे। उनपर विस्तार से चर्चा हुई। चर्चा के बाद कुछ नाम दिल्ली भेजे गए। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi) के शनिवार को दिल्ली प्रवास कार्यक्रम को इससे जोड़कर देखा जा रहा है। सियासी गलियारे में चर्चा है कि सरकार और संगठन के जिम्मेदार केन्द्रीय नेतृत्व से एमएलसी के लिए नामों पर चर्चा के लिए दिल्ली पहुंचे।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi) के अलावा पार्टी के शीर्ष पदाधिकारी शनिवार को दिल्ली पहुंचे। मुख्यमंत्री योगी ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी (PM Modi) से मुलाकात की। इससे पहले मुख्यमंत्री योगी ने शुक्रवार की शाम राज्यपाल आनंदी बेन पटेल से राजभवन जाकर शिष्टाचार भेंट की थी। पार्टी सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक दिल्ली में उप्र विधान परिषद की मनोनीत कोटे की सीटों के लिए नामों पर विचार किया गया है। प्रदेश नेतृत्व की ओर से प्रस्तु सूची को केन्द्रीय नेतृत्व से हरी झण्डी मिल गयी है। जल्द ही सरकार की तरफ से विधान परिषद में मनोनयन के लिए उन नामों की सूची राज्यपाल को सौंपी जाएगी।
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जानकारों का मानना है कि पार्टी इस मनोनीत कोटे की छह सीटों में सामाजिक और क्षेत्रीय संतुलन को साधेगी। प्रदेश के निकाय चुनाव और 2024 के लोकसभा चुनाव को ध्यान में रखा जाएगा। उसी के आधार पर नाम भी तय किये जा रहे हैं। भाजपा पूरे उत्तर प्रदेश को छह क्षेत्रों काशी, गोरखपुर, अवध, कानपुर, ब्रज और पश्चिम में बांट रखा है। इसमें भी उन क्षेत्रों पर ज्यादा जोर हो सकता है जहां भाजपा का विधान सभा चुनाव में बेहतर प्रदर्शन नहीं रहा है।