लखनऊ। प्रदेश के नगर विकास एवं ऊर्जा मंत्री एके शर्मा (AK Sharma) ने बिजली उपभोक्ताओं को मोबाइल कम्पनियों की तरह एलर्ट संदेश भेजने के लिए उनके मोबाइल नंम्बर को बिलिंग सिस्टम में एकीकरण करने की आज शुरूआत की। इस व्यवस्था से प्रदेश के तीन करोड़ उपभोक्ताओं को फायदा होगा। अब वे कहीं पर भी होंगे उनकी विद्युत व्यवस्था, बिल, कनेक्शन, डिस्कनेक्शन एवं अन्य समस्याओं के संबंध में एलर्ट मैसेज मिल जाएगा। ऊर्जा मंत्री (AK Sharma) ने आज से ही उपभोक्ताओं के मोबाइल पर ड्यू डेट के पहले तथा ड्यू डेट के बाद दो से तीन एलर्ट मैसेज भेजने को कहा तथा अंतिम एलर्ट मैसेज भेजने के बाद बिल न जमा करने पर उपभोक्ता का कनेक्शन काट दिया जाए। किसी भी उपभोक्ता का बिल बनने पर शीघ्र ही उसको कम से कम 06 से 07 एलर्ट मैसेज भेजें जाएं।
ऊर्जा मंत्री एके शर्मा (AK Sharma) ने आज शक्ति भवन में बिलिंग सिस्टम से मोबाइल नम्बर को जोड़ने की शुरूआत की तथा विभागीय कार्यों की वर्चुअल समीक्षा बैठक भी की। उन्होंने कहा कि प्रदेश में 15 दिन चले के0वाई0सी0 अभियान के दौरान 2.50 करोड़ उपभोक्ताओं का के0वाई0सी0 अपडेट किया गया। उन्होंने उपभोक्ताओं से सम्पर्क बनाने के लिए इस व्यवस्था को नीचे फील्ड पर उतारने तथा आज से ही इसे चालू करने को कहा। उन्होंने निर्देशित किया कि अगामी त्योहारों के मद्देनजर प्रदेश के सभी धार्मिक स्थलों में निर्वाध विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित की जाए तथा इसमें कहीं पर भी ढिलाई न बरतें। जरा सा भी फाल्ट की सूचना पर तत्काल टीम को भेजकर अपूर्ति ठीक कराएं।
एके शर्मा (AK Sharma) ने गर्मी के दृष्टिगत निर्वाध आपूर्ति के लिए विद्युत व्यवस्था को मजबूत बनाने तथा जर्जर तार व पोल एवं खराब ट्रांसफारर्म को बदलने की प्रक्रिया को तेज किया जाए। ट्रांसफारर्म का लोड व उसके आयल को निरन्तर चेक किया जाए, जिससे ट्रांसफारर्म को जलने से बचाया जा सके। उन्होंने विद्युत की निर्वाध आपूर्ति में सहायक ट्रॉली ट्रांसफारमर्स की संख्या को और बढ़ाने को कहा, जिससे कि कहीं पर भी ट्रांसफारर्म फुंकने पर शीघ्रातिशीघ्र ट्रॉली ट्रांसफारर्म को स्थापित किया जा सके।
उन्होंने कहा प्रदेश में निकाय चुनाव शीघ्र ही शुरू होने वाले हैं इस वजह से नवसृजित/नवविस्तारित नगरीय निकायों में विद्युत व्यवस्था को बहाल करने के लिए शुरू किये गये कार्यों में तेजी लायी जाए, पैसे की कमी नहीं है। इसके लिए 1096 करोड़ रुपये दिये गये हैं। उन्होंने विद्युत व्यवस्था के सुदृढ़ीकरण हेतु संचालित आरडीएसएस स्कीम के कार्यों में तेजी लाने के निर्देश दिए, जिससे कि जनता को इसका शीघ्र ही लाभ मिले और प्रदेश की विद्युत व्यवस्था और व्यवस्थित हो सके।
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ऊर्जा मंत्री (AK Sharma) ने राजस्व वसूली के कार्यों में और तेजी लाने तथा कामर्शियल टीम को 24 घण्टे कार्य में एक्टिव रखने को कहा। उन्होंने सभी डिस्कॉम में कामर्शियल सेन्टर को 24 घण्टे चालू रखने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि बड़े बकायेदारों से वसूली के लिए विशेष रूप से उनसे सम्पर्क करें और फोन करके रातों की उनकी नींद हराम करने की तैयारी करें। उन्होंने लाइनलॉस को कम करने तथा विद्युत चोरी रोकने के निरन्तर प्रयास करने को कहा। उन्होंने कहा कि किसी भी सही उपभोक्ता का उत्पीड़न न किया जाए और फर्जी तरीके से भी किसी उपभोक्ता को न फंसाया जाए। विद्युत व्यवस्था को आसान एवं सहूलियत पूर्ण बनाने के लिए सभी विद्युत कर्मी ईमानदारी, लगन, निष्ठा व मेहनत से काम करें। उन्होंने मार्च महीने में मात्र 25 प्रतिशत राजस्व वसूली पर नारजगी व्यक्त की और कहा कि इस महीने के बाकी दिनों में मासिक लक्ष्य की वसूली को पूरा करें।
एके शर्मा (AK Sharma) ने हड़ताल के दौरान हड़ताल का समर्थन करने तथा इसका विरोध करने वाले सभी कार्मिकों, संगठनों को धन्यवाद दिया है। उन्होंने ऊर्जा विभाग के अधिकारियों को भी हड़ताल के दौरान विद्युत व्यवस्था को बहाल रखने में उनके द्वारा दिन-रात किये गये कार्यों की सराहना की और उन्हें धन्यवाद दिया और उन्होंने एन0टी0पी0सी0, टाटा पावर, बजाज, केस्को, ग्रेनों एवं अन्य संस्थान तथा कॉन्ट्रेक्टर द्वारा किये गये सहयोग का भी धन्यवाद किया। उन्होंने सख्त निर्देश भी दिये हैं कि शिकायतें मिल रही हैं कि जो कार्मिक, संगठनों व ठेकेदारों ने विद्युत आपूर्ति में सरकार का सहयोग किया है उनके कार्यों का मजाक बनाया जा रहा है। उन्हे विभीषण और जयचन्द की संज्ञा दी जा रही है तथा जानबूझकर उनका उत्पीड़न किया जा रहा है। उन्हें बेवजह फंसाया भी जा रहा है। ऐसे कार्मिकों, अधिकारियों एवं संगठनों के पदाधिकारियों को चिन्हित कर उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जायेगी। उन्होंने कहा कि हड़ताली कर्मियों व संगठनों को उच्च न्यायालय ने सख्त हिदायत दी है और ऐसे लोगों के खिलाफ न्यायालय के आदेशों के क्रम में ही अब कार्रवाई होगी।
ऊर्जा मंत्री (AK Sharma) ने कहा कि पूरे प्रदेश के फीडर व उपकेन्द्र मिलाकर कुल 32 हजार छोटी-बड़ी इकाइयां हैं, जहां से विद्युत आपूर्ति की जाती है। हड़ताल के दौरान ज्यादा से ज्यादा ऐसी 400 यूनिट ही बंद थीं, जो कि पूरे प्रदेश के विद्युत व्यवधान का एक प्रतिशत से भी कम मात्र 0.8 प्रतिशत रही। उन्होंने कहा कि 19 मार्च को अपराह्न 03ः00 बजे हड़ताल समाप्ति के पश्चात जहां कहीं पर भी विद्युत बाधित थी वहां सभी जगह 10 घण्टे में विद्युत आपूर्ति रात्रि में ही बहाल करा दी गई थी। प्रदेश में बेमौसम बारिश, आंधी व ओलावृष्टि के कारण जहां कहीं पर भी विद्युत व्यवधान हुआ उसे भी ठीक कराने की कोशिश की गई। वर्तमान में पूरे प्रदेश में विद्युत व्यवस्था निर्धारित शिड्यूल के अनुरूप सुचारू रूप से संचालित है। फिर भी कहीं पर भी खराब मौसम के चलते आपूर्ति में गड़बड़ी या फॉल्ट आने की शिकायतें हो तो पीड़ित उपभोक्ता शीघ्र ही टोल फ्री नम्बर 1912 पर सम्पर्क करें। अधिकारी भी ऐसी शिकायतों को शीघ्र संज्ञान लेकर तत्काल व्यवधान को समाप्त करेंगे।