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उप्र में 53 लाख से ज्यादा वृद्ध पेंशनर्स का आधार प्रमाणित

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लखनऊ। हर पात्र व्यक्ति तक सरकार की योजनाओं का लाभ पहुंचाने में जुटी योगी सरकार (Yogi Sarkar) इस दिशा में तेजी से कार्य कर रही है। इसी क्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi) के निर्देश पर राष्ट्रीय वृद्धावस्था पेंशन योजना के अंतर्गत आधार प्रमाणीकरण का काम एक साल से भी कम समय में कई गुना आगे बढ़ गया है।

राज्य सरकार के एक प्रवक्ता ने बताया कि एक अप्रैल 2022 तक 6.50 लाख लाभार्थियों का आधार प्रमाणीकरण हो सका था तो सीएम की सख्ती के बाद सात फरवरी 2023 तक आठ गुना बढ़कर 53.61 लाख पर पहुंच गया है।

प्रवक्ता के अनुसार प्रदेश का वंचित और असहाय तबका योगी सरकार की प्राथमिकता में है। सरकार की तमाम योजनाओं का लाभ इन्हें दिया जा रहा है। सही व्यक्ति तक योजना का लाभ पहुंचे, इसके लिए सरकार ने आधार प्रमाणीकरण को अनिवार्य कर दिया है, ताकि कोई भी पात्र व्यक्ति छूट न जाए।

जिलाधिकारियों को सौंपी गई जिम्मेदारी

उन्होंने बताया कि एक अप्रैल 2022 को सिर्फ 6.50 लाख लाभार्थियों का ही आधार प्रमाणीकरण किया गया था, जबकि एक अक्टूबर 2022 को यह आंकड़ा बढ़कर 39.88 लाख हो गया। इसके बाद चार माह में यह आंकड़ा 50 लाख का पार कर 53.61 लाख पहुंच गया है। प्रदेश के सभी 75 जिलों में 9.31 लाख ऐसे लाभार्थी भी हैं जिनकी फैमिली आईडी उपलब्ध नहीं है। मुख्यमंत्री योगी ने निर्देश दिया है कि जिन लाभार्थियों की फैमिली आईडी नहीं है, जिलाधिकारी अपने स्तर से उनके प्रमाणीकरण का प्रबंध करें। इसके लिए निदेशक समाज कल्याण के स्तर से सभी जिलाधिकारियों से अनुरोध भी किया गया है, जबकि लाभार्थियों का जनपदवार डाटा नियोजन विभाग को भी उपलब्ध करा दिया गया है।

युद्धस्तर पर कराया गया आधार (Aadhaar ) प्रमाणीकरण

सरकारी प्रवक्ता के अनुसार उत्तर प्रदेश में कुल 56 लाख लोग सरकार की ओर से राष्ट्रीय वृद्धावस्था पेंशन योजना का लाभ उठा रहे हैं। इसमें 2.98 लाख स्टॉप पेंशनर्स की संख्या है। कुल ब्लॉक पेंशनर्स की संख्या 6.46 लाख है, जबकि 1.30 लाख सस्पेक्ट पेंशनर्स भी हैं। 12 हजार ही ऐसे पेंशनर्स हैं जो आधार (Aadhaar ) प्रमाणीकरण में फेल रहे हैं। नवीन लाभार्थियों की संख्या 10.39 लाख है। प्रदेश सरकार के निर्देश पर लाभार्थियों के आधार प्रमाणीकरण हेतु विकासखण्ड, निकाय, वार्डवार, मोहल्लावार- शिविर, जोनवार-शिविर, बैंकों से अभिलेख प्राप्त कर आधार प्रमाणीकरण का कार्य युद्ध स्तर पर कराया जा रहा है।

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