सभी चाहते हैं कि अपने घर की बगिया में गुलाब (Rose) का पौधा लगाया जाए जो खुशबु देने के साथ ही सभी का मन मोह लेते हैं।
लेकिन कई लोग होते हैं जिन्हें इसके बारे में पता ही नहीं होता हैं कि कैसे इसे उगाया जाए और उगाने के बाद कैसे इसका ख्याल रखा जाए। ऐसे में आज हम आपके लिए कुछ ऐसे टिप्स लेकर आए हैं जिनकी मदद से आपको गुलाब का पौधा लगाने में किसी प्रकार की तकलीफ नहीं होगी और आपका घर गुलाब (Rose) की खूबसूरती और सुगंध से महकेगा। तो आइये जानते हैं इन टिप्स के बारे में…
पौधों का चुनाव
बीज से पौधे लगाने की प्रक्रिया काफी जटिल होती है। अगर आप बागवानी में नए हैं तो आपके लिए किसी भी स्थानीय नर्सरी से, गमले में पहले से लगे हुए पौधे खरीदना बेहतर होगा। क्योंकि, इन्हें आसानी से लगाया जा सकता है और यह जल्द ही बढ़ भी जाते हैं। दूसरा तरीका है, बेयर रूट पौधे लगाना। बेयर रूट पौधों की खासियत है कि इसमें आपको गुलाब की ज़्यादा किस्में मिलती हैं। साथ ही, ये किफायती होते हैं और इन्हें ऑनलाइन भी ऑर्डर किया जा सकता है। इनकी जड़ों को रोपने से पहले, रात भर पानी में भिगोना पड़ता है। यह ध्यान रखना चाहिए कि इन्हें रोपने के बाद पहले कुछ महीनों के लिए जड़े नम हो। इसके अलावा, आप गुलाब की कलम से भी पौधा लगा सकते हैं। इसमें, एक या उससे ज्यादा साल पुराने गुलाब के फूलों की कलमों का इस्तेमाल किया जाता है।
किस तरह का रोज़ प्लांट है आपके पास?
सबसे पहले ये ध्यान दें कि आप किस तरह का प्लांट लाए हैं। इंगलिश रोज़ या फिर देसी रोज़ प्लांट। देसी गुलाब में महक बहुत अच्छी होती है, लेकिन उसमें बहुत वेराइटी नहीं होती है वो गुलाबी, सफेद, लाल रंगों में तो होता है, लेकिन साइज में काफी छोटा होता है। इंग्लिश रोज़ प्लांट्स कई तरह के होते हैं। कई रंग, शेप, साइज में मिलेंगे, लेकिन इनमें महक नहीं होती है। अगर आपका देसी प्लांट है तो बहुत ज्यादा केयर के बिना भी वो खिलेगा, लेकिन इंग्लिश रोज़ की केयर करने की थोड़ी टिप्स आपको पता होनी चाहिए।
सही जगह चुनें
गुलाब के पौधे लगाने से पहले मिट्टी का ध्यान ज़रुर रखें। मिट्टी उपजाऊ होनी चाहिए। अगर आप पौधे गमले में लगा रहे हैं, तो इन्हें लगाने से पहले मिट्टी में जैविक खाद मिला लें। ध्यान रहे कि गमले में पौधे लगाते समय, उसमें दो-तीन छेद ज़रुर करें। इससे पानी गमले में नहीं रुकेगा और आपके पौधे सड़ेंगे नहीं। अगर आपके पास ज़्यादा जगह है और आप गुलाब के पौधे ज़मीन में लगा रहे हैं तो दो पौधों के बीच पर्याप्त दूरी ज़रुर रखें। सुंदर और स्वस्थ फूल के लिए गुलाब के पौधों को रोज़ाना छह से आठ घंटे धूप मिलनी चाहिए। इसलिए, पौधे लगाने के लिए ऐसी जगह चुने, जहां उन्हें पर्याप्त धूप मिल सके। गर्मियों में किसी छांव वाली जगह पर ही गुलाब का पौधा लगाएं ताकि इसे सीधी धूप से बचाया भी जा सके और पर्याप्त हवा-पानी भी मिले।
पौधा लगाने का सही समय
वैसे तो गर्मियों को छोड़कर, पूरे सालभर गुलाब के फूल उगाये जा सकते हैं। लेकिन, बारिश के मौसम के बाद और सर्दियों से पहले का मौसम, इन्हें उगाने के लिए सबसे सही होता है। अक्टूबर से नवंबर तक इन्हें आसानी से लगाया जा सकता है।
सही मात्रा में पानी
पौधों के अच्छे से बढ़ने के लिए, मिट्टी का नम रहना ज़रूरी है। पर्याप्त मात्रा में पानी मिलने से पौधे स्वस्थ रहते हैं। पौधों में पानी देने का सबसे अच्छा समय सुबह का होता है। गर्मी के समय पौधों का विशेष ध्यान रखें। ध्यान रहे कि ज़रूरत से ज़्यादा पानी, पौधों को सड़ा देता है। इसलिए, पानी हिसाब से ही दें।
गुलाब के पौधे की मिट्टी पर दें ध्यान
गुलाब का पौधा उस वक्त अच्छा रहता है जब इसकी मिट्टी सही होती है। अगर पौधे की मिट्टी बहुत कड़क है और सिर्फ ब्लैक सॉइल का इस्तेमाल आप कर रहे हैं तो कभी भी अच्छे फूल नहीं आएंगे। गुलाब के पौधे को रीपॉट करना जरूरी है, इसे दो-तीन दिन के अंदर रीपॉट करें जिससे ये सेटल हो जाए। इसे शुरुआत में बहुत तेज़ धूप में न रखें। मिट्टी बालू वाली होनी चाहिए, सिर्फ ब्लैक सॉइल का इस्तेमाल न करें। मिट्टी में खाद जरूर मिली होनी चाहिए। गुलाब के पौधे के लिए किचन वाले कॉम्पोस्ट से ज्यादा बेहतर गोबर की खाद हो सकती है। मिट्टी को कड़क होने न दें। उसकी बीच-बीच में खुदाई करते रहें ताकि पानी आसानी से पौधे में भी जा सके और एक्स्ट्रा पानी निकल सके। लेकिन ऐसा करते समय गुलाब की जड़ों का ध्यान जरूर रखिएगा। आप इसमें कोको पीट, बोन मील आदि भी मिला सकते हैं जिससे पूरे साल तक मिट्टी में सही न्यूट्रिएंट्स बने रहेंगे।
समय से खाद डालें
अगर आप समय से खाद देते रहेंगे तो आपके पौधे में और अधिक तथा खूबसूरत गुलाब आएंगे। महीने में एक बार खाद जरूर डालें। जहां तक संभव हो केमिकल वाले खाद का इस्तेमाल न करें। आप इनमें घर की बनी जैविक खाद भी डाल सकते हैं। अंडे तथा विभिन्न फल-सब्जियों के छिल्के और चाय की पत्ती को सुखाकर, पौधों की जड़ों में डालना काफी फायदेमंद होता है। ध्यान रहे कि आप गर्मियों में ज़्यादा खाद ना दें। क्योंकि, इस मौसम में ज़्यादा खाद देने से पौधे जल सकते हैं। इसके अलावा, इस मौसम में नाइट्रोजन की अधिकता वाले खाद ही देने चाहिए।
छंटाई
पौधों की नियमित रुप से कटाई-छंटाई करना ज़रूरी है। इससे पौधों को बढ़ने में मदद मिलती है। गुलाब के पौधों की समय पर छंटाई नहीं की जाए तो ये बहुत ज़्यादा बड़े, लकड़ियों वाले और बीमारियों के लिए संवेदनशील हो सकते हैं। इनके कमज़ोर और पुराने डंठलों को हटाना ज़रूरी है। जिससे पौधों को हवा और धूप अच्छे से मिलती है। अक्सर वसंत की शुरुआत में पौधों की छंटाई होती है। ध्यान रहे कि आप गुलाब के पौधों को कैंची से 45 डिग्री के कोण पर ही काटे। आप फूल के तने को उसकी पिछली पत्ती के ठीक ऊपर से काट सकते हैं ताकि जल्द ही दूसरा फूल उग सके।
अगर सूख रहा है पौधा तो करें ये काम
गुलाब का पौधा वैसे तो बहुत ही आसानी से उग जाता है, लेकिन ऐसा भी हो सकता है कि ये सूखने लगे और इसकी पत्तियां काली पड़ जाएं। ऐसे में आप एक DIY फर्टिलाइजर बना सकते हैं जिसे पौधों पर डाला जा सकता है। सूखा गोबर और थोड़े से सिट्रस फ्रूट्स के छिलके जैसे संतरे आदि के छिलके लेकर इसे 1 बाल्टी पानी में दो-तीन दिन के लिए रख दें। इसके बाद आप उस पानी को थोड़े और साफ पानी में मिलाकर अपने गुलाब के पौधों में डालें और आप स्प्रे बॉटल की मदद से इसे पत्तियों में भी छिड़क सकते हैं। इसे आप हफ्ते में 1 बार कर सकते हैं और आप देखेंगे कि गुलाब के पौधे किस तरह से खिलने लगेंगे। किचन में दाल-चावल धोने के बाद बचा पानी, आलू उबालने के बाद बचा पानी या सब्जियों को धोने के बाद बचा पानी एक जगह इकट्ठा कर लें और उसे अपने गुलाब के पौधों में डालें। इस पानी में भरपूर मात्रा में न्यूट्रिएंट्स होते हैं जिससे गुलाब के पौधे सड़ते नहीं हैं और उनकी मिट्टी भी नम बनी रहती है वो कड़क नहीं होती।
दोपहर की धूप
अक्सर लोगों को लगता है कि पौधों को सीधे सूरज की रौशनी में रखने से ये अच्छी तरह से खिलते हैं, लेकिन आपको ध्यान रखना चाहिए कि आप किस तरह के पौधे की बात कर रहे हैं। जैसे गुलाब का पौधा ठंडों में बहुत अच्छे से फूल दे सकता है। गर्मियों में तो इसे धूप से बचाने की नौबत आ सकती है। ऐसे में आप 50% ग्रीन शेड वाली नेट के नीचे गुलाब का पौधा लगाएं ताकि इसे सीधे दोपहर की धूप से बचाया भी जा सके और पर्याप्त हवा-पानी भी इसे मिले।