लखनऊ: प्रदेश के नगर विकास मंत्री ए.के. शर्मा (A.K. Sharma) के निर्देश पर पहली बार सभी नगरीय निकायों में नगर पालिका परिषदों व नगर पंचायतों के अधिशासी अधिकारियों द्वारा अपने क्षेत्रों में लोगों की शिकायतों के समाधान के लिए जनसुनवाई (Public Hearing) की गई। लोगों की शिकायतों का त्वरित व गुणवत्तापूर्ण निस्तारण पर जोर दिया गया और 50 जनपदों की 700 में से 565 शिकायतों का निस्तारण मौके पर किया गया तथा शेष 135 लंबित शिकायतों के लिए अधनीस्थ अधिकारियों को रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिये गये हैं।
जनसुनवाई की ’संभव’ (सिस्टमेटिक एडमिनिस्टेटिव मैकॅनिज्म ब्रिंग हैप्पीनेस एण्ड वैल्यू) नामक यह व्यवस्था कुछ दिन पहले ही विभाग में मंत्री द्वारा लागू की गई थी, जिसमें स्थानीय स्तर पर जनसुनवाई करने की व्यवस्था की गई है, जिससे कि लोगों को अपने ही क्षेत्र में स्थानीय स्तर पर समस्याओं का समाधान मिल सके, उन्हें कहीं और न भटकना पड़े।
नगर विकास मंत्री ए.के. शर्मा (A.K. Sharma) ने इस कार्यक्रम की सफलता पर खुशी जाहिर की है उन्होंने बताया कि आज अनेक नगर पंचायतों, नगर पालिका परिषदों के अधिशाषी अधिकारियों द्वारा हजारों लोगों की शिकायतें सुनकर उनका निस्तारण किया गया। उन्होंने स्थानीय निकाय के अधिकारियों द्वारा किए गए इस प्रयास की सराहना की और कहा कि यह व्यवस्था आगे भी लागू रहेंगी। नगर विकास मंत्री ने सभी नगर आयुक्तों को निर्देशित किया है कि कल मंगलवार 07 जून, 2022 को प्रातः 10ः00 बजे से लोगों की समस्याओं को सुनने के लिए अपने स्तर पर जनसुनवाई कार्यक्रम आयोजित करेंगे तथा समस्याओं के समाधान में अपना सार्थक योगदान देंगे।
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ए.के.शर्मा ने कहा है कि जन शिकायतों के निस्तारण की गुणवत्ता से ही अधिकारियों के कार्यों का मूल्यांकन होगा। इसलिए शिकायतों के समाधान में अपनापन के साथ जन भावनाओं का भी सम्मान किया जाए। उन्होंने कहा कि ऊर्जा विभाग में 02 सप्ताह पहले लागू इस व्यवस्था के बेहतर परिणाम आए हैं, जिसको देखते हुए नगर विकास विभाग में भी संभव की व्यवस्था लागू की गई है, जिससे कि नागरिकों की शिकायतों का स्थानीय स्तर पर ही निस्तारण हो सके और लोगों को एक पारदर्शी व जवाबदेही व्यवस्था मिल सके।
उन्होंने कहा कि लोगों को साफ-सफाई, पेयजल, सड़क, खड़ंजा, कूड़ा उठाने, निराश्रित पशुओं, स्ट्रीट लाइट, नाली आदि से संबंधित समस्याएं होती हैं, जिनके निराकरण के लिए वह भटकते रहते हैं। अब संभव की इस व्यवस्था से उनकी शिकायतों का निस्तारण त्वरित एवं न्यायपूर्ण ढंग से स्थानीय स्तर पर ही संभव हो सकेगा।